दूध वाला रोजाना सुबह मेरी मम्मी को चोदता है जब पापा सोये रहते हैं

Milk Man Hindi Sex Story : मैं आज आपको मम्मी की चुदाई वो दूधवाला कैसे करता है वही बताने जा रही। मेरी उम्र अभी अठारह साल है। मैं वही बताउंगी जो सात दिन से देख रही हूँ। मम्मी मेरी इतनी बड़ी रंडी है को वो एक मर्द की हो ही नहीं सकती। पहले राजू अंकल से चुद्वाती थी फिर मम्मी पापा में लड़ाई हुई राजू अंकल को लेकर, एक चैप्टर क्लोज हुआ फिर सात दिन से वो मोटे लौड़े की दीवानी हो गई है। वो आजकल जोरदार चुदाई का आनंद ले रही है।

मैं आपको अपनी पूरी कहानी antarvasna.live पर बताने जा रही हूँ। दोस्तों आपको पता है मार्च से ही घर में हूँ स्कूल नहीं जा रही हूँ स्कूल बंद है। पर जो सुबह उठने का आदत था वही रहा मैं हमेशा ही साढ़े पांच बजे उठ जाती थी। पर पापा हमेशा ही 9 बजे उठते हैं।

मम्मी बदली बदली सी रहने लगी थी वो सुबह उतरकर तुरंत ब्रश कर लेती थी। बाल झाड़ लेती थी। लिपस्टिक भी लगा लेती थी। मैं सोचती थी पता नहीं मम्मी को क्या हो गया आखिर तो छह बजे क्यों लिपस्टिक लगाने लगी है। और बेसर्बी से वो भीम यादव अंकल जो को दूध देने आते हैं उनका इंतज़ार करने लगती थी। मम्मी बहुत खुश हो जाती थी जब वो आता था। मैं लेटी रहती थी जगी रहती थी। मुझे पता चल जाता था दूध वाला आया और मम्मी दूध लेने दरवाजे पर जाती और करीब 15 मिनट बाद वो वापस आती।

मुझे शक होने लगा आखिर दूध लेने में इतना टाइम कैसे लगता है। मैं एक दिन पता करने के लिए सोची।

मम्मी पहले उठी। पापा सो ही रहे थे पापा का दरवाजा बाहर से बंद कर दी। मैं दूसरे कमरे में थी। मैं सोने का नाटक करने लगी। वो आकर देखकर चली गई उन्होंने लगा की मैं सो रही हूँ। वो दबे पांव देख कर चली गई। मैं तुरंत ही बेड पर उठी और दरवाजे के पास परदे से झाँकने लगी। तभी भीम अंकल आ गए। आते ही मम्मी ने हौले से कुण्डी खोली और वो दूधिया अंदर आ गए। उसके पास जो और भी दूध था वो डब्बे फर्श पर रख दिया और मेरा वाला दूध कर बर्तन वो मम्मी को दे दिया। मम्मी तुरंत भी फ्रीज़ में रख कर दूध वापस उसको बर्तन दे दी.

उसके बाद भीम अंकल बाहें फैला दिया। मम्मी उनके बाहों में चली गई। मुझे देखकर अजीब लगा एक सुन्दर सी हॉट सी औरत जो इतनी मस्त है कोई भी इंसान फ़िदा हो जाएगा गोरा बदन हॉट सेक्सी फिगर बड़ी बड़ी गोल गोल चूचियां, मोती चौड़ी गांड, दूध सा बदन नशीली आँखे और वो दूधिया से पट गई। पर मैं भी यही सोच रही थी कुछ तो बात होगी तभी मम्मी फ़िदा हुई है इस ग्वाला के लिए।

मम्मी को अंकल चूमने लगे। होठ को चूसने लगे पर मम्मी बचने की कोशिश कर रही थी शायद उसके मुँह से बदबू आ रही थी। पर चुदाई का नशा जब लगे तब कुछ भी दिखाई नहीं देता है। मम्मी एक दो बार मना की पर उसके बाद तो वो उनके होठ को चूसने लगी उनकी पगड़ी भी गिरा दी। और भीम अंकल तुरंत ही मम्मी की चूचियां दबाने लगे।

मम्मी तुरंत ही अपना नाईटी ऊपर कर दी अंदर वो ब्रा नहीं पहनी थी। निचे भी पेंटी नहीं पहनी थी यानी पूरी प्लानिंग रहती है ताकि कुछ खोलना नहीं पड़े। मैं दरवाजा बंद था दरवाजे के बगल में और फ्रीज़ के पीछे ये सब हो रहा था।

दोस्तों मैं साफ़ साफ़ देख रही थी। मम्मी वाइल्ड हो गई थी। होठ चूस रही थी उनको सहला रही थी पर वो ग्वाला मम्मी की चूचियां दबा रहा था गाल चूस रहा था गांड सहला रहा था। फिर मम्मी तुरंत ही घूम गई गांड उसके तरफ कर दी।

भीम अंकल तुरंत ही अपना लौड़ा निकाल लिए। ओह्ह्ह माय गॉड मोटा लंबा काला लौड़ा जैसा की फिल्मो में हब्सी का होता है वैसा ही लौड़ा था। मम्मी झुक गई कुतिया बन गई। मम्मी को मोती गांड चौड़ी गांड अंकल के तरफ था मम्मी अपना दोनों हाथ फर्श पर रख कर झुक गई।

अंकल पीछे से मम्मी के चूत में लौड़ा घुसाने लगे पहले वो कामयाब नहीं हुए फिर उन्होंने मम्मी की चूत झुककर देखा फिर अपना लौड़ा मम्मी की चूत पर सेट किया और फिर जोर से धक्के दे दिया। मम्मी गिरते गिरते बची। फिर क्या था दोस्तों मम्मी का चूतड़ पकड़ लिया उन्होंने सहलाने लगे कमरे को पकड़ा और जोर जोर से धक्के देने लगे ,

मम्मी की दोनों गोल गोल चूचियां उछल रही थी। मम्मी जोर जोर से पीछे धक्के देती और अंकल आगे देते। जोर जोर से चोद रहे थे उनका मोटा लौड़ा माँ चूत से अंदर बाहर हो रहा था। मम्मी मजे ले रही थी अंकल जोर जोर से पेल रहे थे। मम्मी कभी कभी पापा के कमरे के तरफ भी देखती और भीम अंकल पुरे घर के तरफ देखते कही से कोई आ तो नहीं रहा।

दोस्तों करीब १० मिनट तक जोरदार चुदाई चली उसके बाद भीम अंकल शांत हो गए ऊपर देखने लगे मुँह अजीब सा बना दिए मुझे लगा पता नहीं क्या हो गया। तभी मम्मी तुरंत ही वापस घूम गई निचे बैठ गये उनका लौड़ा अपने मुँह में ले ली तभी वो लौड़ा हिलाने लगे। शायद वो वीर्य छोड़ गए थे।

मम्मी तुरंत ही लौडे को हिलाने लगी और मुँह में ही ले रखी थी। फिर मेरी मम्मी सारा माल पि गई। फिर लौड़ा अपने मुँह से बाहर निकाली। बाहर निकाल कर फिर लौड़े को देखि और चूमि।

भीम अंकल तुरंत ही अपने लौड़े को अंदर किये बर्तन उठाया और चलते बने। मम्मी अपना बाल समेटते हुए कपडे ठीक कर आने लगी। मैं तुरंत ही बेड पर लेट गई आँखे बंद कर ली. मम्मी आकर बोली बेटा उठ जाओ, समय हो गया उठने का।

मुझे लगा भाई साहब क्या चुड़क्कड़ है मेरी मम्मी पापा के घर में रहते हुए वो गैर मर्द से चुदवा ली। अब मैं सात दिन से रोजाना देख रही हूँ रासलीला। अब तो मुझे भी लग रहा है ऐसा ही कोई लंड मेरी चूत को नसीब होता और पकड़ी भी नहीं जाती जैसी मम्मी कर रही है।

आशा करती हूँ जल्द ही अपनी चुदाई की कहानी आपको सुनाऊँगी इसी वेबसाइट पर antarvasna.live डॉट कॉम पर।

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